नामचीन कलाकारों के बगैर महोत्सव की रौनक रही फीकी
- तीसरे दिन पुलिस ने भांजी लाठी, ड्यूटी पर तैनात दंडाधिकारी रहे नदारद
सिमरी बख्तियारपुर(सहरसा) ब्रजेश भारती : सिमरी बख्तियारपुर अंतर्गत बलवा हाट स्थित मटेश्वर धाम में आयोजित राजकीय मटेश्वर महोत्सव 2022 के तीसरे दिन गुरुवार को बिहार के विभिन्न जिलों से आये कलाकारों सहित कोलकाता की सचिन झांकी ने दर्शकों का खूब मनोरंजन किया। महोत्सव की मुख्य शोभा दिलीप दरभंगिया ने कई मैथिली गीत गा कर सबको मंत्र मुग्ध कर दिया। दिलीप दरभंगिया के अलावे गायिका लवली आनंद ने भी अपने गीत हमरा किया बिसरे छि भोला…जैसे गीतों पर श्रोताओं को ताली बजाने पर मजबूर कर दिया।
इस बीच राजकीय महोत्सव का दर्जा मिलने के बाद पहली बार आयोजित होने वाले महोत्सव उस स्तर नहीं लगा जिस स्तरीय की सोच स्थानीय लोगों से लेकर अन्य ने पाल रखे थे। कहने का नाम बड़े दर्शन छोटे वाली कहावत चरितार्थ रही। बदइंतजामी का आलम पहले दिन से तीसरे दिन तक बना रहा। जहां पुलिस को लाठी भांजनी पड़ी वहीं प्रतिनियुक्त दण्डाधिकारी नदारद दिखे, पत्रकार दीर्घा पर दर्शकों का कब्जा रहा।
● कई बार पुलिस ने भांजी लाठी : बलवा हाट अंतर्गत काँठो में आयोजित चार दिवसीय मटेश्वर महोत्सव के तीसरे दिन देर शाम में कइयों बार भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को लाठियां भांजनी पड़ी। जिस वजह से कई बार अफरा तफरी की स्थिति बन गई। कार्यक्रम स्थल के मुख्य पंडाल में गुरुवार शाम 7 बजे के बाद कई बार पुलिस को लाठी भांजनी पड़ी। इसके साथ ही मटेश्वर धाम परिसर स्थित पोखड़ के निकट रात करीब नौ बजे पुलिस ने भीड़ पर लाठी भांजी। इस दौरान पोखड़ के निकट अफरातफरी मच गई। इस दौरान एक मोटर साइकिल युवक को पुलिस द्वारा पकड़ा भी गया। परंतु थोड़ी ही देर में उसे छोड़ भी दिया गया। प्रशासनिक बलो की कमी पूरे कार्यक्रम में साफ तौर पर देखने को मिली।
● अधिकतर दंडाधिकारी रहे गायब : बलवा हाट स्थित मटेश्वरधाम में आयोजित चार दिवसीय मटेश्वरधाम महोत्सव कार्यक्रम को लेकर सहरसा डीएम आनंद शर्मा और एसपी लिपि सिंह द्वारा संयुक्त आदेश जारी करते हुए विधि – व्यवस्था संधारण के लिए दंडाधिकारी से लेकर पुलिस पदाधिकारी और बल को इस कार्यक्रम में प्रतिनियुक्त किया गया था। ये प्रतिनियुक्ति दो पालियों में की गई थी। परंतु आश्चर्य की बात यह है कि लगभग एक दर्जन दंडाधिकारी प्रतिनियुक्त होने के बावजूद कार्यक्रम स्थल पर दंडाधिकारी नही दिखते थे। दो – तीन प्रतिनियुक्त दंडाधिकारी के अलावा बांकि पूरे कार्यक्रम में अधिकतर समय गायब ही रहे। यही हाल पुलिस पदाधिकारियों और बलो का भी रहा। जिस कारण अव्यवस्था की स्थिति बनी रही।
● पत्रकार दीर्घा में दर्शकों का कब्जा : चार दिवसीय मटेश्वर धाम महोत्सव में मुख्य कार्यक्रम स्थल पर बनाया गया पत्रकार दीर्घा हर रोज पत्रकारों के बजाय आम दर्शकों के कब्जे में रहा। जिस वजह से जिले भर के कार्यक्रम कवर आने वाले पत्रकारों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। गुरुवार रात भी कार्यक्रम स्थल पर पत्रकार दीर्घा में आम दर्शक जमे रहे। जिसकी शिकायत ईओ केशव गोयल से की गई। जिसके बाद चार कुर्सी उपलब्ध करवाये गए। आश्चर्य की बात यह है कि पत्रकार दीर्घा के डीएम और एसपी के आदेश से प्रतिनियुक्त दंडाधिकारी प्रखण्ड पंचायती राज पदाधिकारी गुरु प्रसाद मंडल कार्यक्रम में किसी भी दिन देखे तक नही गये। जिस पर पत्रकारो ने रोष व्यक्त किया।
● पानी तक का नही लगा स्टॉल : पहली बार सिमरी बख्तियारपुर अंतर्गत मटेश्वर धाम परिसर में आयोजित मटेश्वर धाम राजकीय महोत्सव में अव्यस्था का आलम देखने को मिला। इतने बड़े कार्यक्रम में टेंट से लेकर हर ताम – झाम पर पानी के तरह पैसा बहाया गया। लेकिन जनता – जनार्दन के लिए पानी तक की व्यवस्था नही की गई थी। जिस कारण सभी बोतल बंद पानी ओर ज्यादा निर्भर दिखे। कार्यक्रम में पहुंचे दर्शकों ने बताया कि जिस आम जन के लिए यह कार्यक्रम रखा गया है, उन्ही के सुविधाओं को नजरअंदाज कर दिया गया।
● नही बुलाया गया कोई नामचीन कलाकार : बीते कई वर्षों से बाबा मटेश्वर महोत्सव को राजकीय महोत्सव का दर्जा दिलाने को लेकर कई प्रयास किये गए। जिसके बाद आखिरकार वित्तीय वर्ष 2021 – 22 में कला संस्कृति एवं युवा विभाग के सांस्कृतिक कैलेंडर में बाबा मटेश्वर धाम आयोजन को शामिल कर लिया गया। 2022 में पहली बार 1 मार्च से चार दिवसीय इस महोत्सव का आगाज हुआ। आगाज होने से पूर्व 24 फरवरी को कार्यक्रम की रूपरेखा तैयारी को लेकर बैठक हुई। बैठक में मशहूर गायिका शारदा सिन्हा से लेकर मैथिली ठाकुर तक को बुलाने की बात हुई।परंतु दोनो में से किसी को नही बुलाया गया।
ज्ञात हो कि सहरसा में आयोजित होने वाले कोसी महोत्सव में पंकज उधास, अनूप जलोटा, शारदा सिंहा, मो अजीज जैसे नामचीन कलाकार अपने कलाकारी से जिलेवासियों को मंत्र – मुग्ध कर चुके है। लेकिन पहली बार आयोजित हुए मटेश्वर धाम महोत्सव में कोई भी नामचीन कलाकार का ना आना कार्यक्रम आयोजक अनुमंडल प्रशासन और धार्मिक न्यास समिति के प्रति लोगो में रोष नजर आया।
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