परिजनों ने कॉलेज प्रशासन पर इलाज में लापहरवाही का लगाया आरोप
बीजेपी नेता ने मृतक के घर पहुंच ढांढस बंधाते हुए न्यायिक जांच की मांग
सिमरी बख्तियारपुर (सहरसा) प्रखंड के खजुरी पंचायत के बरसम गांव निवासी अमरेन्द्र यादव के 21 वर्षीय पुत्र बी-टेक तीसरे वर्ष के छात्र सत्यजीत कुमार की मौत तमिलनाडु के एक इंजीनियरिंग कॉलेज के हॉस्टल में रहकर पढ़ाई करने के दौरान हो गई। परिजनों ने कॉलेज प्रशासन पर इलाज में लापहरवाही का आरोप लगाया है। वहीं मृतक छात्र के शव को गांव लाया गया जहां उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया। वहीं रविवार को घटना की जानकारी मिलने पर बीजेपी नेता रितेश रंजन बरसम पहुंच परिजनों को ढांढस बंधाते हुए मामले की न्यायिक जांच की मांग की।
मृतक छात्र सत्यजीत के पिता अमरेन्द्र यादव ने बताया कि उसके सबसे बड़े पुत्र सत्यजीत कुमार बी-टेक इंजीनियरिंग के लिए वर्ष 2021 में तमिलनाडु के मनकल जिला के एक्सल इंजीनियरिंग कॉलेज में दाखिला हुआ था। वह हॉस्टल में रहकर पढ़ाई करता था। 28 नवंबर को फोन आया कि सत्यजीत का तबियत खराब हो गया है। उसके बाद कॉलेज स्थित क्लिनिक में इलाज करा पुनः हॉस्टल आ गया।
29 नवंबर को सत्यजीत पांचवें सेमेस्टर की परीक्षा देने परीक्षा केंद्र चला गया। परीक्षा के दौरान ही छात्र सत्यजीत की तबियत पुनः खराब हो गई। जिसके बाद कॉलेज प्रशासन ने सत्यजीत को पुनः कॉलेज क्लिनिक में इलाज के लिए भर्ती कराया। जहां उसकी तबियत बिगड़ने लगी तो एक एम्बुलेंस से उसे बेहतर इलाज के लिए स्थानीय सरकारी अस्पताल भेजा गया। अस्पताल पहुंचने के साथ ही जांचोपरांत डाक्टरों ने सत्यजीत को मृत घोषित कर दिया।
सत्यजीत कुमार के सहपाठी जिले के सौनवर्षाराज प्रखंड के चंडीस्थान जम्हारा निवासी जो मृतक के शव को लेकर बरसम पहुंचा ने बताया कि हमलोग साथ में ही परीक्षा दे रहे थे इसी दौरान सत्यजीत की तबियत बिगड़ी। उसके बाद उसे परीक्षा हॉल से इलाज के लिए ले जाया गया। जब वो परीक्षा देकर शाम पांच बजे निकला तो वह कॉलेज क्लिनिक में भर्ती था जहां से इलाज के लिए बाहर ले जानें के लिए एम्बुलेंस मंगवाया गया।
वो और अन्य लोग सत्यजीत को लेकर स्थानीय एक सरकारी अस्पताल ले जा रहे थे रास्ते में ही उसका शरीर ठंडा पड़ने लगा। जब अस्पताल पहुंचे तो डॉक्टरों ने जांचोपरांत मृत घोषित कर उसके संबंध में नाम पता लेने लगा। छात्र सुधाकर ने बताया कि उसके बाद कॉलेज के छात्रों ने हो-हंगामा शुरू कर दिया। हमलोग शव को गांव लाने की प्रक्रिया में लग गए। पहले कॉलेज प्रशासन ने माता-पिता को ही शव देने की बात कही लेकिन स्थानीय पुलिस प्रशासन व परिजनों से फोन पर बातचीत होने पर शव ले जानें की इजाजत दी गई।
शव को हवाई जहाज़ से पटना लाया जहां से गांव लाएं। सुधाकर ने बताया कि मौत के बाद छात्र उग्र हो गए थे। जिसके बाद स्थानीय पुलिस प्रशासन भी पहुंचा। स्थानीय पुलिस स्टेशन में मौत की रिपोर्ट दर्ज की गई। शव का पोस्टमार्टम उपरांत गांव लाएं हैं। उन्होंने बताया कि घटना के बाद कॉलेज प्रशासन ने सभी बिहारी छात्रों को तत्काल छुट्टी देते हुए हॉस्टल खाली करने का फरमान जारी कर दिया। सभी बिहारी छात्र हॉस्टल छोड़ दिया है।
रविवार को बरसम पहुंचे बीजेपी नेता रितेश रंजन, पूर्व जिप सदस्य प्रवीण आनंद मृतक छात्र के परिजनों से मुलाकात कर घटना की जानकारी लेते हुए तमिलनाडु के इंजिनियरिंग कॉलेज के हॉस्टल वार्डन सहरसा निवासी शुभम कुमार से फोन पर बातचीत किया। रितेश रंजन ने कहा कि एक होनहार छात्र की इस कदर मौत हो गई यह कही ना कही कॉलेज प्रशासन की लापरवाही को दर्शाता है।
समय रहते अगर तबियत बिगड़ने के साथ सत्यजीत का इलाज उच्चस्तरीय अस्पताल में कराया जाता तो उसकी जान बच सकती थी। उन्होंने कहा सत्यजीत की मौत का न्यायिक जांच जरूरी है। तमिलनाडु जैसे राज्य में बिहारी छात्र हो या मजदूर के साथ हमेशा सतौला व्यवहार होता रहा है। उन्होंने कहा कि राज्यपाल को इस संबंध में एक पत्र लिखा जाएगा। इसके साथ ही उनसे मिलने का भी समय मांगा जाएगा।
यहां बताते चलें कि सत्यजीत कुमार दो भाईयों में सबसे बड़ा था। पढने में बचपन से ही मैधावी था। मैट्रिक व इंटर परीक्षा में भी अच्छे अंकों से उत्तीर्ण हुआ था। बेटे की मौत से अमरेन्द्र यादव सहित परिवार में मातम पसरा हुआ है। अमरेन्द्र यादव बेटे को अच्छी शिक्षा प्रदान करने के लिए दिन रात कड़ी मेहनत करता था।