भारत में असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले करोड़ों मजदूरों और श्रमिकों के लिए सरकार ने कई योजनाएं शुरू की हैं, जिनका उद्देश्य उन्हें सामाजिक और आर्थिक सुरक्षा देना है। इन्हीं में से एक है ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना, जिसके तहत योग्य श्रमिकों को हर महीने ₹3000 की पेंशन देने का प्रावधान है।
अगर आपने भी श्रम कार्ड बनवा रखा है या बनवाने की सोच रहे हैं, तो आपके लिए यह योजना काफी फायदेमंद साबित हो सकती है। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि ई-श्रम कार्ड धारकों को 3000 रुपये की पेंशन कैसे मिलती है, कौन पात्र है, आवेदन की प्रक्रिया क्या है, जरूरी दस्तावेज कौन-कौन से हैं और इस योजना की असलियत क्या है।
Shram Card Pension 2025
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बिंदु | जानकारी |
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योजना का नाम | प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना (PM-SYM) |
योजना का प्रकार | सरकारी पेंशन योजना |
लागू करने वाला विभाग | श्रम एवं रोजगार मंत्रालय, भारत सरकार |
लाभार्थी | असंगठित क्षेत्र के श्रमिक |
मासिक पेंशन राशि | ₹3000 (60 वर्ष की उम्र के बाद) |
न्यूनतम आयु | 18 वर्ष |
अधिकतम आयु | 40 वर्ष |
अधिकतम मासिक आय | ₹15,000 |
योगदान (प्रीमियम) | ₹55 से ₹200 प्रतिमाह (आयु के अनुसार) |
आवेदन का तरीका | ऑनलाइन/सीएससी केंद्र के माध्यम से |
आवश्यक दस्तावेज | आधार कार्ड, बैंक खाता, मोबाइल नंबर |
योजना का लाभ कब मिलेगा | 60 वर्ष की उम्र पूरी होने पर |
श्रम कार्ड ₹3000 पेंशन योजना क्या है?
ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना का असली नाम प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना (PM-SYM) है। यह योजना केंद्र सरकार द्वारा असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के लिए शुरू की गई है। इसका उद्देश्य है कि जब मजदूर 60 वर्ष की उम्र पार कर जाए, तो उसे हर महीने ₹3000 की निश्चित पेंशन मिले ताकि बुढ़ापे में आर्थिक तंगी न हो।
इस योजना में श्रमिकों को 18 से 40 वर्ष की उम्र के बीच पंजीकरण करवाना होता है और 60 साल तक हर महीने एक निश्चित राशि प्रीमियम के रूप में जमा करनी होती है। सरकार भी उतना ही योगदान देती है, जितना श्रमिक जमा करता है।
60 वर्ष की उम्र पूरी होने के बाद, श्रमिक को हर महीने ₹3000 की पेंशन मिलती है। अगर श्रमिक की मृत्यु हो जाती है, तो उसकी पत्नी/पति को पेंशन का 50% पारिवारिक पेंशन के रूप में मिलता है।
कौन ले सकता है योजना का लाभ?
- आवेदक की उम्र 18 से 40 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
- मासिक आय ₹15,000 से अधिक नहीं होनी चाहिए।
- आवेदक असंगठित क्षेत्र में काम करता हो (जैसे- मजदूर, रेहड़ी-पटरी वाले, घरेलू कामगार आदि)।
- आवेदक EPFO, NPS या ESIC का सदस्य न हो।
- आवेदक के पास ई-श्रम कार्ड होना जरूरी है।
- बैंक खाता और आधार कार्ड होना चाहिए।
आवेदन की प्रक्रिया
- सबसे पहले ई-श्रम पोर्टल या नजदीकी CSC (जन सेवा केंद्र) जाएं।
- वहां से प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना के लिए आवेदन फॉर्म भरें।
- अपनी आधार कार्ड, बैंक पासबुक, मोबाइल नंबर और ई-श्रम कार्ड की कॉपी साथ रखें।
- उम्र के अनुसार हर महीने की प्रीमियम राशि बताई जाएगी (जैसे 18 साल पर ₹55, 30 साल पर ₹105 प्रतिमाह)।
- फॉर्म भरने के बाद हर महीने तय रकम आपके बैंक खाते से ऑटो-डेबिट हो जाएगी।
- सफल पंजीकरण के बाद आपको योजना की सदस्यता और पेंशन की पुष्टि मिल जाएगी।
जरूरी दस्तावेज
- आधार कार्ड
- बैंक खाता पासबुक
- मोबाइल नंबर
- ई-श्रम कार्ड
- पासपोर्ट साइज फोटो
मुख्य लाभ
- 60 वर्ष की उम्र के बाद ₹3000 मासिक पेंशन।
- सरकार द्वारा श्रमिक के योगदान के बराबर राशि जमा की जाती है।
- पेंशनधारी की मृत्यु के बाद पत्नी/पति को 50% पारिवारिक पेंशन।
- बुढ़ापे में आर्थिक सुरक्षा और सम्मानजनक जीवन।
- पेंशन के अलावा अन्य सरकारी योजनाओं का भी सीधा लाभ।
प्रीमियम राशि
उम्र (वर्ष) | श्रमिक का मासिक योगदान | सरकार का मासिक योगदान |
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18 | ₹55 | ₹55 |
25 | ₹80 | ₹80 |
30 | ₹105 | ₹105 |
35 | ₹150 | ₹150 |
40 | ₹200 | ₹200 |
Disclaimer:
ई-श्रम कार्ड धारकों को हर महीने ₹3000 सीधे नहीं मिलते हैं। यह राशि केवल उन्हीं श्रमिकों को मिलती है, जिन्होंने प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना में रजिस्ट्रेशन किया है, हर महीने प्रीमियम जमा किया है और 60 वर्ष की उम्र पूरी कर ली है। अगर आपने सिर्फ ई-श्रम कार्ड बनवाया है और योजना में पंजीकरण नहीं कराया या प्रीमियम जमा नहीं किया, तो आपको यह पेंशन नहीं मिलेगी।
यह स्कीम असली है, लेकिन इसके लिए जरूरी शर्तें और प्रक्रिया पूरी करनी होती है। सिर्फ श्रम कार्ड बनवाने से अपने आप ₹3000 हर महीने नहीं मिलते।